वायरल वीडियो से खुला बड़ा राज, मालिक पर लगे गंभीर सवाल।
करेली/नरसिंहपुर (तथ्य वायरल ब्रेकिंग डेस्क) नरसिंहपुर जिले की करेली तहसील का इलाका इन दिनों एक बड़े घोटाले को लेकर सुर्खियों में है। करेली थाना क्षेत्र के *कठल पेट्रोल पंप* पर ‘कम पेट्रोल’ दिए जाने का मामला अब एक सनसनीखेज मोड़ ले चुका है। सोशल मीडिया पर एक वायरल वीडियो ने इस पूरे खेल का पर्दाफाश कर दिया है, जिसमें पेट्रोल पंप संचालक की हैरान कर देने वाली लापरवाही और धोखाधड़ी सामने आई है।
वायरल वीडियो में खुलासा: मशीन खराब है।और फिर भी ग्राहकों को लूटा गया?
मामला 2 जून 2025, सोमवार शाम का है। करेली निवासी अंकित दुबे अपनी गाड़ी में पेट्रोल डलवाने इंडियन ऑयल कॉपरेशन लिमिटेड के डीलर बने कठल ट्रेडर्स के कठल पेट्रोल पंप पहुंचे। जब उन्होंने 220/- रुपये का पेट्रोल डलवाया, तो उन्हें तुरंत शक हुआ कि पेट्रोल कम दिया जा रहा है। उन्होंने हिम्मत कर तुरंत पेट्रोल पंप ऑपरेटर से सवाल किया। और यहीं से खुल गया धोखाधड़ी का नया अध्याय! वायरल वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि जब अंकित दुबे ने कम पेट्रोल देने का सवाल उठाया, तो पेट्रोल पंप ऑपरेटर का जवाब था कि आप मैनेजमेंट से बात करो जिसके बाद पंप के मैनेजर और सुपरवाइजर राकेश पटेल से जब यह बात कही गई तो उन्होंने साफ लफ्जों में कह दिया कि”मशीन में खराबी है!” यह जवाब सुनते ही अंकित के होश उड़ गए! अगर मशीन में खराबी थी और यह बात ऑपरेटर को पहले से पता थी, तो फिर उस ‘खराब’ मशीन से लगातार पेट्रोल का वितरण क्यों किया जा रहा था? क्या जानबूझकर ग्राहकों को ठगा जा रहा था?
पेट्रोल पंप मालिक की भूमिका पर उठे गंभीर प्रश्न।
इस खुलासे के बाद सबसे बड़ा सवाल कठल पेट्रोल पंप के मालिक पर खड़ा हो गया है। पेट्रोलियम कंपनियों के सख्त नियमों के अनुसार, हर पेट्रोल पंप खुलने से पहले सभी मशीनों की रीडिंग ली जाती है और उनकी पूरी तरह से जांच की जाती है। यदि किसी मशीन में खराबी पाई जाती है, तो उसे तुरंत ठीक करना या उसे बंद करना अनिवार्य है। ऐसे में यह एक गंभीर चर्चा का विषय है कि जब ‘मशीन खराब’ होने की जानकारी थी, उसके बावजूद उसे कैसे अनदेखा कर लगातार पेट्रोल का वितरण किया जा रहा था? क्या यह सीधे तौर पर आम जनता की जेब काटने का सुनियोजित षड्यंत्र था?
कम पेट्रोल के साथ दुर्व्यवहार भी।
अंकित दुबे ने द तथ्य की टीम को बताया कि मेरे द्वारा जब इसका विरोध किया तब एक अन्य ग्राहक रूपेश जाटव ने भी कम पेट्रोल दिए जाने पर आवाज उठाई, तो पेट्रोल पंप के मैनेजर और कर्मचारियों ने उनके साथ बदतमीजी और गाली-गलौज भी की। जिसके बाद सारी सच्चाई को सामने लाने के लिए जब उन्होंने लीटर मापक से जांच की, तो 220/- रुपये के पेट्रोल में लगभग 2 लीटर से अधिक की कमी पाई गई। यह साबित करता है कि सिर्फ मेरे साथ ही नहीं, बल्कि न जाने कितने ग्राहक लंबे समय से इस धोखाधड़ी का शिकार हो रहे होंगे।
प्रशासन की चुप्पी पर भी सवाल
यह घटना स्थानीय प्रशासन और पेट्रोलियम विभाग की भूमिका पर भी गंभीर सवाल उठाती है। क्या इन पेट्रोल पंपों पर नियमित जांच नहीं होती? क्या ऐसी धोखाधड़ी पर पहले भी कोई कार्रवाई नहीं की गई?
पीड़ित ने की सख्त कार्रवाई की मांग, क्या होगा इंसाफ
इस पूरे घटनाक्रम से आहत अंकित दुबे ने तत्काल थाना प्रभारी करेली से संपर्क कर लिखित शिकायत दर्ज कराई है। उन्होंने कठल पेट्रोल पंप के मालिक, मैनेजर और कर्मचारियों के खिलाफ धोखाधड़ी और उपभोक्ता अधिकारों के उल्लंघन का मामला दर्ज करने की पुरजोर मांग की है। यह देखना होगा कि पुलिस और प्रशासन इस सनसनीखेज मामले में कितनी तेजी और गंभीरता से कार्रवाई करते हैं। क्या कठल पेट्रोल पंप पर लगे इन गंभीर आरोपों की निष्पक्ष जांच होगी और क्या दोषी पाए जाने वालों को सख्त से सख्त सजा मिल पाएगी?